
वैसे इससे पहले भी समाजवादी पार्टी डिजीटलीकरण का विरोध करते हुए नहीं थकती थी फिर चाहे वह सरकारी विभागों के कंप्यूटर के अनुप्रयोग का विषय हो या फिर इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन का मसला। लेकिन गाहे बगाहे सपा डिजिटल पावर गेम को समझ चुकी है यही कारण है कि पार्टी की विचारधारा को आमजन तक पहुंचाने के लिए सपा ने यूट्यूब का विकल्प भी चुन लिया है। वैसे सपा प्रमुख अखिलेश यादव से लेकर पार्टी फेसबुक और ट्विटर पर लगातार उपलब्ध थी अब सपा यूट्यूब पर भी उपलब्ध हो चुकी है।
चूंकि यूट्यूब ग्लोबल प्लेटफार्म है लेकिन इस चैनल का उद्देश्य मुख्य रूप से उत्तर प्रदेश के लोगों तक अपनी बात पहुँचाना ही रहेगा क्योंकि अगर चैनल को एक्सप्लोर किया जाए तो यहाँ वर्तमान सत्ता में काबिज सरकार के खिलाफ किये गए प्रदर्शन, विरोध इत्यादि को ज्यादा जगह दी गयी है ताकि प्रदेश के लोगों के बीच मे सपा को बराबर बनाये रखा जा सके।
ठीक वैसा ही जैसा कि हर राजनैतिक पार्टियां करती है, अपनी पार्टी की बात को लोगों को बताना और विपक्षी दलों की बातों को उजागर करना। करीब दो हफ्ते पहले बनाये गए इस चैनल को अब तक करीब चार हजार से ज्यादा लोगों द्वारा सब्सक्राइब किया जा चुका है साथ ही इसमें डाले गए कंटेंट में एक्सप्रेस वे में टच डाऊन करते हुए फाइटर प्लेन और लखनऊ में सपा कार्यकर्ताओं पर हुआ लाठीचार्ज प्रमुख रूप से दिखाया गया है।
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